World Day of Social Justice 2023: भारत 'अनेकता में एकता' का देश है| यहाँ जितनी विविधताएं हैं, उतनी ही असमानता| ऐसे में समाज में सामंजस्यता लाना, हर व्यक्ति को उसकी गरिमा का न्याय प्रदान करना, हमेशा से ही भारतीय समाज की बड़ी चुनौती रही है| किसी भी सभ्य समाज के लिए सामाजिक न्याय बेहद ही अहम होता है| 'सामाजिक न्याय' यानि सोशल जस्टिस का अर्थ है लिंग, आयु, धर्म और संस्कृति की भावना को भूलकर समान समाज की स्थापना करना| जब समाज में असमानता और भेदभाव फैलने लगता है तो लोगों के नैतिक और मानवाधिकारों की रक्षा करने के लिए सामाजिक न्याय की मांग और तेज हो जाती है| समाज में हर किसी को न्याय मिले इस उद्देश्य के साथ वर्ष में एक दिन विश्व सामाजिक न्याय दिवस के तौर पर मनाया जाता है| आइये जानते हैं विश्व सामाजिक न्याय दिवस कब मनाते हैं (World Day of Social Justice 2023 Date) और क्या है इस वर्ष विश्व सामाजिक न्याय दिवस 2023 का विषय (World Day of Social Justice 2023 Theme):
विश्व सामाजिक न्याय दिवस कब मनाया जाता है | World Day of Social Justice 2023 Date
हर साल 20 फरवरी को विश्व सामाजिक न्याय दिवस मनाया जाता है| दरअसल नवंबर 2007 में अपने 62वें सत्र में, संयुक्त राष्ट्र की महासभा ने 20 फरवरी को विश्व सामाजिक न्याय दिवस के रूप में घोषित किया था, जिसके बाद वर्ष 2009 में पहली बार यह दिन मनाया गया| "सभी के लिए एक समाज" प्राप्त करने के लिए सरकारों ने राष्ट्रीय, क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तरों पर सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने के उद्देश्य से कार्रवाई के लिए एक ढांचे के निर्माण के लिए प्रतिबद्धता जताई| उन्होंने आय के समान वितरण और सभी के लिए समानता और अवसर के माध्यम से संसाधनों तक अधिक पहुंच को बढ़ावा देने का भी वचन दिया| सरकारों ने यह भी स्वीकार किया कि "सभी के लिए एक समाज" सामाजिक न्याय और सभी मानवाधिकारों और मौलिक स्वतंत्रता के सम्मान पर आधारित होना चाहिए| इस दिन का उद्देश्य गरीबी, लैंगिक असमानता आदि के मुद्दों सहित सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने की आवश्यकता को स्वीकार करना है|
विश्व सामाजिक न्याय दिवस का महत्त्व
सामाजिक न्याय के बारे में कार्य और उस पर विचार तो बहुत पहले से ही शुरू हो गया था, लेकिन दुर्भाग्य से अभी भी विश्व के कई लोगों के लिए सामाजिक न्याय सपना बना हुआ है, जिसमें भारत में भी बड़ी तादाद में लोग शामिल हैं| समाज में फैली भेदभाव और असमानता की वजह से कई बार हालात इतने बुरे हो जाते हैं की मानवाधिकारों का हनन भी होने लगता है|
ऐसे में विश्व सामाजिक न्याय दिवस तमाम तरह के सामाजिक मुद्दों जैसे बहिष्कार, बेरोजगारी और गरीबी से निपटने के प्रयासों को बढ़ावा देने के लिए मनाया जाता है| इस अवसर पर संयुक्त राष्ट्र, अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन जैसे तमाम राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय संगठनों द्वारा लोगों के सामाजिक न्याय की अपील की जाती है| अगर हम भारत के आधार पर बात करें तो आज भी आम आदमी अपनी कई मूल जरूरतों के लिए न्याय प्रक्रिया को नहीं जानता, जिसके अभाव में कई बार उसके मानवाधिकारों का हनन होता है और उसे अपने अधिकारों से वंचित भी रहना पड़ता है| आज भारत में गरीबी, महंगाई और आर्थिक असमानता हद से ज्यादा है| भेदभाव भी अपनी सीमा के चरम पर है| ऐसे में देश में सामाजिक न्याय बेहद ही गंभीर विषय है जिसपर सरकार और समाज को साथ मिलकर काम करने की जरूरत है|
विश्व सामाजिक न्याय दिवस 2023 का विषय (World Day of Social Justice 2023 Theme)
हर साल एक विशेष विषय को ध्यान में रखते हुए विश्व सामाजिक न्याय दिवस मनाया जाता है| पिछले साल विश्व सामाजिक न्याय दिवस 2022 की थीम "औपचारिक रोजगार के माध्यम से सामाजिक न्याय प्राप्त करना" थी| इस वर्ष विश्व सामाजिक न्याय दिवस 2023 का विषय वैश्विक एकजुटता को मजबूत करने और "बाधाओं पर काबू पाना और सामाजिक न्याय के अवसरों को उजागर करना" है|
World Day of Social Justice 2023 Theme: "Overcoming Barriers and Unleashing Opportunities for Social Justice"
'विश्व सामाजिक न्याय दिवस 2023' बढ़ती असमानताओं पर बातचीत को बढ़ावा देने और सदस्य देशों, युवाओं, सामाजिक भागीदारों, संयुक्त राष्ट्र संगठनों और अन्य हितधारकों के साथ सामाजिक अनुबंध को मजबूत करने का अवसर प्रदान करता है|
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