52 Kg and 60 Kg Rail: रेलवे के ट्रैक स्ट्रक्चर में सबसे ऊपर रेल होती है, जिस पर इंजन और रेल कोच चलते हैं| रेल के माध्यम से ही ट्रेन का भार ट्रैक स्ट्रक्चर के दूसरे भागों से होते हुए फार्मेशन तक पहुँचता है| वर्तमान में भारतीय रेलवे में दो सबसे अधिक इस्तेमाल किए जाने वाले रेल सेक्शन 52 किलोग्राम और 60 किलोग्राम रेल हैं| इन्हें जानने से पहले आइये जानते हैं रेल का कार्य, प्रकार और फिर वर्तमान में इस्तेमाल होने वाली 52 किलोग्राम और 60 किलोग्राम रेल के आयाम (52 Kg and 60 Kg Rail Dimension):
रेल का क्या कार्य होता है (Function of Rail)
- ट्रेन के लिए ट्रैक पर बिछी रेल निरंतर और लेवल सतह प्रदान करती है|
- ट्रेन के लिए एक रेल चिकनी और घर्षण रहित मार्ग प्रदान करती है|
- रेल ट्रेन को साइडवेज जाने से रोकती है, जिसका मतलब है यह रोलिंग स्टॉक के पहिये को लेटरल मार्ग प्रदान करती है|
- रेल, रोलिंग स्टॉक के एक्सल और पहियों से आए लोड को सहती है और उसे नीचे ट्रांसफर करती है|
रेल के प्रकार (Types of Rail)
डबल हेडेड रेल (Double Headed Rail): यह रेल Ⅰ या Dumb-bell के रूप में बनाई गई और यह रेल भारतीय रेलवे में सबसे पहले प्रचलन में आई थी| इसके दोनों हेड समान नाप के बनाये गए थे, जिससे यदि एक हेड यदि घिस जाए या ख़राब हो जाए तो रेल को पलटकर दूसरी तरफ से ट्रेन को चलाया जा सके| मगर रेल जंक और खराबी के कारण यह दूसरी तरफ से इस्तेमाल न हो सकी| इसके अंतर्गत 69 पौंड, 79 पौंड और 82 पौंड की रेल आती थी| इस प्रकार की रेल अब ओब्सोलीट हो गई है यानि अब प्रचलन में नहीं है|
बुल हेडेड रेल (Bull Headed Rail): डबल हेडेड रेल के बाद बुल हेडेड रेल को प्रचलन में लाया गया| इसका हेड मोटा होने से यह रेल डबल हेडेड रेल से ज्यादा मजबूत थी| इसमें 81 पौंड और 89 पौंड की रेल हुआ करती थी| अब यह रेल में भारतीय रेलवे के प्रचलन में नहीं है|
फ्लैट फ़ूटेड रेल (Flat Footed Rail): भारतीय रेलवे में वर्तमान में केवल फ्लैट फ़ूटेड रेल ही प्रचलन में हैं| यह तीन अलग-अलग वजन के अनुसार वर्गीकृत की गई है- 90 पौंड, 52 किलोग्राम और 60 किलोग्राम| इनमें से पहली 90R रेल के 01 गज का वजन 90 पौंड होता है| यह रेल वर्ष 1910 के समय में आई और 100 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ़्तार और 10 जीएमटी वजन के लिए उपयुक्त थी| यह रेल अब भारतीय रेलवे की मेन लाइन में उपयोग नहीं की जाती है| आइये जानते हैं भारतीय रेलवे में वर्तमान में इस्तेमाल होने वाली 52 किलोग्राम और 60 किलोग्राम रेल के बारे में:
52 किलोग्राम रेल
वर्ष 1959 में भारतीय रेलवे ने भारी और तेज यातायात की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए 52 किलोग्राम/मीटर वजन के रेल सेक्शन को डिजाइन किया था| इस रेल को भविष्य में 130 किमी प्रति घंटे की गति और 20 से 25 जीएमटी के यातायात घनत्व के साथ सभी ब्रॉड गेज मेन लाइन मार्गों पर उपयोग के लिए अनुशंसित किया गया था| भविष्य में 52 किलोग्राम रेल भी भारतीय रेलवे में प्रचलन से हट जाएंगी|
52 किलोग्राम रेल सेक्शन (52 Kg Rail Section)
रेल हेड की चौड़ाई (52 Kg Rail Head Width): 67mm
रेल का भार (52 Kg Rail Weight per Meter): 51.89 Kg/meter (Calculated Weight)
60 किलोग्राम रेल
इस रेल के 01 मीटर रेल का वजन 60 किलोग्राम (60.34 Kg) होता है| यह रेल 130 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ़्तार और 80 जीएमटी तक की ट्रैफिक डेंसिटी में उपयोग की जाती है| यह रेल नवीनीकरण, गेज कन्वर्शन, दोहरीकरण, नए ट्रैक में लगाई जा रही है|
60 किलोग्राम रेल सेक्शन (60 Kg Rail Section)
60 किलोग्राम रेल प्रोफाइल (60 Kg Rail Profile)
रेल की ऊंचाई (60 Kg Rail Height): 172mm
रेल हेड की चौड़ाई (60 Kg Rail Head Width): 74.3 mm
रेल का भार (60 Kg Rail Weight per Meter): 60.34 Kg/meter (Calculated Weight)
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