World Forestry Day 2023 in Hindi: विश्व में वनों के महत्व को कम करके नहीं आंका जा सकता| हम अपने अस्तित्व के लिए जंगलों पर निर्भर हैं| जानवरों के लिए आवास और मनुष्यों के लिए आजीविका प्रदान करने के अलावा, वन वाटरशेड संरक्षण प्रदान करते हैं, मिट्टी के कटाव को रोकते हैं और जलवायु परिवर्तन को कम करते हैं| स्वस्थ-वन दुनिया के प्राथमिक 'कार्बन सिंक' में से एक हैं| विकास की दौड़ में अक्सर वनों को अनदेखा कर इनका कटाव किया जाता है| वनों के महत्त्व को उजागर करने और इनके प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए एक दिन विश्व वानिकी दिवस (World Forestry Day) या इंटरनेशनल डे ऑफ़ फॉरेस्ट्स (International Day of Forests) के रूप में मनाया जाता है| आइये जानते हैं कब है वर्ल्ड फारेस्ट डे (World Forest Day in Hindi) और क्या है इस वर्ष का विषय (World Forest Day 2023 Theme):
विश्व वानिकी दिवस कब मनाया जाता है (World Forestry Day Celebrated on)
विश्व वानिकी दिवस (International Day of Forests) प्रतिवर्ष 21 मार्च को विश्व भर में मनाया जाता है| इसकी स्थापना 28 नवंबर, 2012 को संयुक्त राष्ट्र महासभा के संकल्प द्वारा की गई थी| असल में, नवंबर 1971 में, खाद्य और कृषि संगठन के सम्मेलन के 16 वें सत्र में सदस्य देशों ने प्रत्येक वर्ष 21 मार्च को "विश्व वानिकी दिवस" स्थापित करने का समर्थन किया था| बाद में 2007 से लेकर 2012 'अंतर्राष्ट्रीय वानिकी अनुसंधान केंद्र' (CIFOR) ने पार्टियों के जलवायु परिवर्तन सम्मेलन पर 'संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क कन्वेंशन' की वार्षिक बैठकों के साथ संयोजन के रूप में छह वन दिवस (Forests Day) आयोजित किए| 2011 के वनों के अंतराष्ट्रीय वर्ष के बाद ही संयुक्त राष्ट्र महासभा के प्रस्ताव द्वारा 'अंतर्राष्ट्रीय वन दिवस' की स्थापना की गई, जिसके बाद 21 मार्च 2013 को पहला विश्व वानिकी दिवस (World Forestry Day) मनाया गया|
विश्व वानिकी दिवस का उद्देश्य (World Forest Day Significance)
वन प्रबंधन वर्तमान और भविष्य की पीढ़ियों की समृद्धि और कल्याण में योगदान देने के लिए महत्वपूर्ण है| वन गरीबी उन्मूलन और सतत विकास लक्ष्यों (एसडीजी) की उपलब्धि में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं| फिर भी इन सभी अमूल्य पारिस्थितिक, आर्थिक, सामाजिक और स्वास्थ्य लाभों के बावजूद, वैश्विक वनों की कटाई खतरनाक दर पर जारी है|
'अंतर्राष्ट्रीय वन दिवस' (World Forest Day) शहरीकरण और आधुनिकीकरण के लिए वनों की कटाई की प्रक्रिया को हतोत्साहित करने का एक प्रयास है| वनों की कटाई से इस ब्रह्मांड की सुंदरता नष्ट होती है| इसलिए इस दिन का उद्देश्य प्रत्येक व्यक्ति से आग्रह करना है कि वह इस ग्रह को अपने हिस्से पर सुरक्षित करने के लिए क्या योगदान दे सकता है|
विश्व वानिकी दिवस (World Forestry Day 2023) पर वनों की कटाई के कारण वैश्विक जलवायु परिवर्तनों के प्रति चिंता दिखाने के लिए स्कूलों, कार्यालयों और अन्य कार्य स्थलों में सेमिनारों की व्यवस्था की जाती है| साथ ही इस दिन के उपलक्ष्य में पेड़ों के महत्व को प्रदर्शित करने के प्रतीक के रूप में पेड़ लगाने के कार्यक्रम भी आयोजित होते हैं|
World Forestry Day 2023 | International Day of Forests in Hindi
भले ही स्लोगन, डिस्प्ले आदि में विश्व में विश्व वानिकी दिवस अलग-अलग नामों से पहचाना जाए, जैसे World Forestry Day, International Day of Forests, World Forest Day, लेकिन इनका मकसद इस दिन सभी को वनों और पेड़ों से जुड़ी गतिविधियों को व्यवस्थित करने के लिए स्थानीय, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय प्रयास करने के लिए प्रोत्साहित करना है|
World Forestry Day 2023 Theme (इंटरनेशनल डे ऑफ़ फॉरेस्ट्स थीम 2022)
प्रति वर्ष एक विषय को ध्यान में रखकर विश्व वानिकी दिवस मनाया जाता है| जहाँ वर्ष 2021 में इंटरनेशनल डे ऑफ़ फॉरेस्ट्स डे की थीम थी "Forest Restoration: the path to recovery and welfare"| वहीँ पिछले साल विश्व वानिकी दिवस 2022 "वन और टिकाऊ उत्पादन और खपत" थीम पर मनाया गया| इस साल विश्व वानिकी दिवस का विषय है "वन और स्वास्थ्य"|
World Forestry Day 2023 Theme : "Forests and Health"
वन हमें हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत कुछ देते हैं| वे पानी को शुद्ध करते हैं, हवा को साफ करते हैं, जलवायु परिवर्तन से लड़ने के लिए कार्बन पर कब्जा करते हैं, भोजन और जीवन रक्षक दवाएं प्रदान करते हैं, और हमारी स्वास्थ्य में सुधार करते हैं| इन बहुमूल्य प्राकृतिक संसाधनों की रक्षा करना हम पर ही निर्भर करता है|
भारत में वन क्षेत्र (Forest Cover in India)
भारत का कुल वन और वृक्ष आवरण 80.9 मिलियन हेक्टेयर है जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 24.62 प्रतिशत है। 2019 के आकलन की तुलना में, देश के कुल वन और पेड़ कवर में 2,261 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है| क्षेत्र-वार मध्य प्रदेश में देश में सबसे अधिक वन क्षेत्र है, इसके बाद अरुणाचल प्रदेश, छत्तीसगढ़, ओडिशा और महाराष्ट्र का स्थान आता है| कुल भौगोलिक क्षेत्र के वन क्षेत्र प्रतिशत के संदर्भ में, शीर्ष पांच राज्य मिजोरम (84.53%), अरुणाचल प्रदेश (79.33%), मेघालय (76.00%), मणिपुर (74.34%) और नागालैंड (73.90%) हैं| देश के जंगल में कुल कार्बन स्टॉक 7,204 मिलियन टन होने का अनुमान है और 2019 के पिछले आकलन की तुलना में देश के कार्बन स्टॉक में 79.4 मिलियन टन की वृद्धि हुई है| कार्बन स्टॉक में सालाना वृद्धि 39.7 मिलियन टन है|
भारत में वन क्षेत्र बड़ा है और यह गर्व करने का विषय है लेकिन इसके बावजूद दुनिया में लगातार हो रहा जलवायु परिवर्तन यह दर्शाता है कि अभी भी प्रकृति संतुलन में भारी कमी है|
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